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रहमतों बरकतों के महीने का आगाज,पहले जुमा पर मस्जिद में नमाजियों की भीड़,देश के लिए मांगी दुआएं

रहमतों बरकतों के महीने का आगाज,पहले जुमा पर मस्जिद में नमाजियों की भीड़,देश के लिए मांगी दुआएं

रुड़की। बरकतों और रहमतों का महीना रमजान कल से शुरू होते ही मुस्लिम लोग घरों तथा मस्जिदों में इबादत में मशगूल हो गए।रमजान का चांद नजर आने पर मुस्लिम लोगों ने विशेष नमाज तरावीह मस्जिदों में पढी,विशेषता यह रही कि रमजान का पहला रोजा भी शुक्रवार का रहा।शुक्रवार की मुस्लिम समाज में विशेष महत्ता है।जुमे की नमाज पढ़ने के लिए बड़ी संख्या में नमाजी जामा मस्जिद तथा अलग-अलग मस्जिदों में जमा हुए,जहां उन्होंने रमजान के पहले जुमे की नमाज अदा की।नगर की प्रमुख जामा मस्जिद में मुफ्ती मोहम्मद सलीम ने नमाजे जुमा अदा कराई तथा मौलाना अजहरूल हक ने रमजान की फजीलत बयान की।उन्होंने कहा कि रमजान का महीना इबादत और बरकतों का महीना होता है,इसमें मुस्लिम लोग विशेष तरह की नमाज तरावीह अलग से अदा करते हैं।यह नमाज केवल रमजान माह में ही पढ़ाई जाती है।

उन्होंने कहा कि रमजान का महीना हर मुसलमान के लिए बहुत ही महत्वपूर्ण होता है,जिसमें तीस या उन्नतीस दिनों तक रोजा रखे जाते हैं।इस्लाम धर्म के मुताबिक पूरे रमजान को तीन भागों में बांटा गया है,जो पहला,दूसरा और तीसरा अशरा कहलाता है।अशरा अरबी का दस नंबर होता है।उन्होंने कहा कि रमजान के पहले दस दिन रहमत के होते हैं।रोजा,नमाज करने वालों पर अल्लाह की रहमत होती है।रमजान के पहले अशरा में मुसलमानों को ज्यादा से ज्यादा दान कर गरीबों की मदद करनी चाहिए व हर एक इंसान से प्यार और नम्रता का व्यवहार करना चाहिए,वहीं दूसरी ओर आईआईटी रुड़की मस्जिद के शाही इमाम मौलाना अरशद बिजौली ने कहा कि रमजान इबादत के साथ-साथ गुनाहों से बचने का और तोबा करने का महीना भी है।आर्मी मस्जिद सफर मैना के पूर्व इमाम मेजर कारी रागिबुल्लाह ने कहा कि रमजान में इबादत के साथ-साथ गरीबों,बेसहारा लोगों के अलावा विधवाओं के लिए मदद करने का भी महीना है।

केवल इबादत के जरिए ही अल्लाह के करीब नहीं जाया जाता बल्कि दरिद्र और बेसहारा,गरीब लोगों की इमदाद करना भी इस महीने में इबादत के बराबर ही माना जाता है और इसका सत्रर गुना सवाब मिलता है,इसके अलावा रमजान के पहले जुमा की नमाज फातिमा मस्जिद,मदीना मस्जिद,नूर मस्जिद,शेख बेंचा मस्जिद, मरकज वाली मस्जिद, मस्जिद लोहारन,मस्जिद कानूनगोयान,सिविल लाइन मस्जिद,कचहरी मस्जिद, रेलवे स्टेशन मस्जिद, शेखपुरी मस्जिद,आजाद नगर मस्जिद तथा ईदगाह की मस्जिद के अलावा आसपास की मस्जिदों में भी अदा की गई और देश व प्रदेश की खुशहाली के लिए दुआएं मांगी गई।नगर निगम की तरफ से पहले जुमा को देखते हुए विशेष सफाई की व्यवस्था की गई तथा चूने का छिड़काव कराया गया,साथ ही कई जगह पर हिंदू भाइयों ने मुसलमानों को रमजान की बधाई दी और मुसलमानों ने नवरात्र की हिंदू भाइयों को बधाई देते देखा गया जो राष्ट्रीय एकता का एक महत्वपूर्ण उदाहरण है।

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