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उत्तराखंड में कोरोना संक्रमण के दस नए मामले सामने आए, संक्रमितों की संख्या 1855 पहुंच गई

उत्तराखंड में कोरोना संक्रमण के दस नए मामले सामने आए हैं। दिल्ली से आई एनसीडीसी की रिपोर्ट में सात लोगों में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई है। इनमें चार लोग रुद्रप्रयाग के हैं, जबकि तीन लोग रुड़की क्षेत्र के हैं। वहीं, एम्स में भी तीन लोग कोरोना संक्रमित पाए गए हैं, जिनमें से दो ऋषिकेश और एक संक्रमित कोटद्वार का है। प्रदेश में अब कोरोना संक्रमितों की संख्या 1855 पहुंच गई हैं, जबकि 1189 लोग स्वस्थ होकर घर लौट चुके हैं। अबतक कोरोना संक्रमित अब तक कोरोना संक्रमित 26 मरीजों की मौत भी हो चुकी है। जबकि बारह संक्रमित मरीज राज्य से बाहर चले गए हैं।

दिल्ली से लौटे सात लोगों में कोरोना संक्रमण की पुष्टि

दिल्ली से आई एनसीडीसी की रिपोर्ट में सात लोगों में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई है। इनमें चार लोग रुद्रप्रयाग से हैं, जबकि तीन लोग रुड़की क्षेत्र के हैं। यह सभी लोग 13 जून को दिल्ली से आए थे। नारसन बॉर्डर पर इन के सैंपल लिए गए थे। रुड़की के जिन तीन लोगों में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई है। उनमें एक महिला श्याम नगर, वृद्ध कृष्णा नगर का और भगवानपुर के चांचक निवासी युवक शामिल है। स्वास्थ्य विभाग की टीम इन सभी तीनों लोगों को मौर्य होटल स्थित कोविड केयर सेंटर में ले जा रही है। इनके संपर्क में आने वाले लोगों को भी चिह्नित किया जा रहा है।

एम्स में तीन की कोरोना रिपोर्ट पॉजिटिव 

अखिल भारतीय आयुर्विज्ञान संस्थान में जांच के बाद ऋषिकेश के दो और कोटद्वार के एक शख्स में कोरोना की पुष्टि हुई है। एम्स प्रशासन के मुताबिक एम्स की ओपीडी में 13 जून को गली नंबर-11 बीस बीघा ऋषिकेश निवासी एक महिला आई थी, जिसका कोरोना सैंपल लिया गया। उसकी जांच रिपोर्ट पजिटिव आई है। वहीं, आवास-विकास कॉलोनी के  12 वर्षीय किशोर में कोरोना संक्रमण पाया गया है, जो 12 जून को दिल्ली से आया था। बच्चे के माता-पिता की रिपोर्ट पहले ही पॉजिटिव आ चुकी है। इसके अलावा कोटद्वार निवासी एक 58 वर्षीय व्यक्ति यहां भर्ती किया गया था। उनकी रिपोर्ट भी पॉजिटिव आई है।

प्रदेश में बीती 15 मार्च को कोरोना संक्रमण का पहला मामला सामने आया था। तीन माह की अवधि में मरीजों का आंकड़ा हर अंतराल पर बढ़ा है। पर सुकून इस बात का है कि अब लोग रिकवर भी उसी रफ्तार से हो रहे हैं। स्वास्थ्य विभाग से मिली जानकारी के अनुसार सोमवार को 1047 सैंपलों की जांच रिपोर्ट मिली है। इनमें 26 मामलों में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई है। देहरादून में दून मेडिकल कॉलेज अस्पताल की एक स्टाफ नर्स समेत छह लोगों में कोरोना की पुष्टि हुई है। जिनमें तीन बाहर जा चुके हैं।

टिहरी, नैनीताल और पौड़ी में तीन-तीन व्यक्ति कोरोना संक्रमित मिले हैं। ये सभी कुछ दिन पहले मुंबई से लौटे हुए हैं। रुद्रप्रयाग में कोरोना के तीन नए मामले हैं। यह लोग पूर्व में संक्रमित एक मरीज के संपर्क में आने से कोरोना की चपेट में आए हैं। बागेश्वर में फरीदाबाद और दिल्ली से लौटे दो लोग पॉजिटिव मिले हैं। हरिद्वार में दिल्ली से लौटे दो लोगों की रिपोर्ट पॉजिटिव आई है। इनमें एक व्यक्ति मूल रूप से चमोली का रहने वाला है। पिथौरागढ़ में दो लोगों में कोरोना संक्रमण की पुष्टि हुई। इनमें एक तीन माह की बच्ची भी है। बच्ची की मां पहले ही कोरोना पॉजिटिव है। दोनों आइसोलेशन में हैं। उत्तरकाशी और अल्मोड़ा में दिल्ली से लौटे एक-एक व्यक्ति में कोरोना की पुष्टि हुई है। इधर, कोरोना संक्रमित 78 और लोग स्वस्थ्य होकर आज डिस्चार्ज भी हुए हैं। इनमें सर्वाधिक 54 मामले जनपद टिहरी गढ़वाल से हैं। देहरादून से नौ, चमोली से पांच, उधमसिंहनगर से पांच, बागेश्वर से चार और पौड़ी से एक संक्रमित मरीज ठीक होकर डिस्चार्ज हुआ है।

पुरोला निवासी युवक की दून में मौत

दिल्ली से लौटे पुरोला ढकाडा गांव निवासी युवक की सोमवार को मौत हो गई। युवक को सीएचसी पुरोला से दून मेडिकल कॉलेज रेफर किया गया था। मौत के कारणों का पता लगाने के लिए कोरोना जांच की जा रही है। बता दें, इससे पहले 27 मई को पुरोला निवासी 19 वर्षीय युवक की भी दून अस्पताल में मौत हो गई थी। बाद में उसकी कोरोना जांच रिपोर्ट निगेटिव आई थी। 27 वर्षीय युवक दिल्ली में एक निजी कंपनी में नौकरी करता था। 28 मई को वह गांव लौटा। 14 दिनों तक राइंका, पुरोला में क्वारंटाइन भी रहा। क्वारंटाइन सेंटर से 11 जून को उसे घर भेजा गया। रविवार को गांव में खेलते समय अचानक उसकी तबीयत बिगड़ गई।

स्वजनों ने उसे सीएचसी पुरोला पहुंचाया। गंभीर हालत को देखते हुए उसे दून रेफर कर दिया गया। सीएचसी प्रभारी चिकित्साधिकारी डॉ. पंकज कुमार ने बताया कि युवक को सीने में दर्द की शिकायत थी। इधर, दून मेडिकल कॉलेज चिकित्सालय के डिप्टी एमएस डॉ. एनएस खत्री के अनुसार, युवक को इमरजेंसी में मृत अवस्था में लाया गया था। हार्ट अटैक होने पर उसे रेफर किया गया था। रास्ते में उसकी मौत हो गई। युवक का शव मोर्चरी में रखकर सैंपल कोरोना जांच के लिए भेजा गया है।

कुमाऊं में कोरोना संक्रमित महिला की मौत

कुमाऊं में सोमवार को सांस रोग से पीड़ित महिला की कोरोना संक्रमण से मौत हो गई। नैनीताल जिले के सुशीला तिवारी अस्पताल, हल्द्वानी में 10 जून से भर्ती अल्मोड़ा के लगमड़ा ब्लाक निवासी 55 वर्षीय महिला ने दम तोड़ दिया। वह सांस संबंधी रोग के चलते उपचार के लिए पुत्र के साथ यहां भर्ती थी। सोमवार को ही रिपोर्ट भी पॉजिटिव आई है।

बारबर शॉप में फेस शील्ड, ग्ल्ब्स जरूरी

प्रदेश में कोरोना संक्रमण बढ़ने के अंदेशे के मद्देनजर नाई की दुकानों, स्पा और सैलून के लिए अलग से मानक प्रचालन कार्य विधि (एसओपी) जारी की गई है। इन दुकानों के संचालकों को हर रोज दुकानों का पूरी तरह सेनिटाइजेशन करना होगा। साथ ही वहां काम करने वालों के लिए मास्क पहनना, फेस शील्ड, डिस्पोजेबल ग्लव्स और व्यक्तिगत सुरक्षा के उपाय जरूरी होंगे। कंटेनमेंट जोन में रहने वाले कर्मचारियों को दुकानों में काम करने की अनुमति नहीं होगी।

नई एसओपी के मुताबिक हरेक दिन दुकान के दरवाजे पर ही आने वाले कर्मचारियों और ग्राहकों की थर्मल स्कैनिंग की जाएगी। प्रवेश के स्थान पर ही हैंड सैनिटाइजर रखा जाएगा। सैलून, स्पा या नाई की दुकान में कर्मचारियों को डिस्पोजबल किट पहननी होगी। वे प्लास्टिक किट का उपयोग कर सकते हैं।

तौलिया और अन्य वस्त्रों को संक्रमणमुक्त किए बगैर दोबारा इस्तेमाल नहीं किया जा सकेगा। टेबल, कुर्सियों को भी हर बार इस्तेमाल के बाद संक्रमण मुक्त करना होगा। कर्मचारी हाथों को बार-बार सैनिटाइज करेंगे। किसी भी कर्मचारी के कोरोना पॉजिटिव मिलने पर संचालक को नजदीकी हेल्थ सेंटर, पुलिस और नियंत्रण कक्ष को सूचित करना होगा। दुकान संचालकों को पहले से अप्वाइंटमेंट लेकर सेवाएं देने और ग्राहकों को दुकानों के बाहर ही इंतजार करने को कहा गया है। यदि कोई ग्राहक बगैर मास्क पहुंचता है तो उसके लिए मास्क की व्यवस्था भी की जाएगी। कैश लेनदेन के बाद हाथ सैनिटाइज करने होंगे।

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